कांग्रेस के 3 साल : 36 में से 34 वादे हुए पूरे, यह 2 वादे रह गए अधूरे !

कांग्रेस के 3 साल : 36 में से 34 वादे हुए पूरे, यह 2 वादे रह गए अधूरे !

रायपुर । कांग्रेस सरकार के 3 साल पूरे हो गए हैं इन 3 सालों में कांग्रेस का दावा है कि उन्होंने अपने जन घोषणा पत्र में किए गए 36 में से 34 वादे पूरे कर लिए हैं। दो वादे ही पूरे करना बाकी रह गया है।

आइए जानते हैं कि छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव 2018 में कांग्रेस के द्वारा कौन-कौन सी घोषणा की गई थी और उनमें से कितनी घोषणाएं पूरी हो चुकी हैं और कितनी बाकी है।

यह रही 36 घोषणाएं

  1. किसानों का कर्जा माफ -सरकार बनने के 10 दिनों के भीतर किसानों का कर्जा माफ़ किया जाएगा। किसानों को दो वर्ष के धान का बकाया बोनस का भुगतान किश्तों में किया जायेगा।
  2. कृषि फ़सलों का न्यूनतम मूल्य पर खरीदी-निम्नलिखित दरों पर कृषि फसलों की खरीदी सुनिश्चित की जाएगी:
    धान की खरीद की न्यूनतम दर-2500 रूपए प्रति क्विंटल
    मक्का की खरीद की न्यूनतम दर-1700 रूपए प्रति क्विंटल
    सोयाबीन की खरीद की न्यूनतम दर – 3500 रूपए प्रति क्विंटल
    गन्ना की खरीद की न्यूनतम दर – 355 रूपए प्रति क्विंटल
    चना की खरीद की न्यूनतम दर -4700 रूपए प्रति क्विंटल
    जनजातीय क्षेत्रों के रागी, कोदो, कुटकी जैसी फसलों का न्यूनतम मूल्य तयकर क्रय किया जाएगा।
  3. बिजली बिल आधा (हाफ) किया जाएगा।
  4. घर घर रोजगार, हर घर रोजगार – छत्तीसगढ़ के युवाओं को राजीव मित्र योजना के तहत रोज़गार दिया जाएगा, जिसके अंतर्गत 10 लाख बेरोज़गार युवाओं को सामुदायिक विकास और समाज सेवी गतिविधियों में भाग लेने पर न्यूनतम प्रति माह रू. 2500 प्रदान किया जाएगा।
  5. खाद्य सुरक्षा का अधिकार – प्रत्येक परिवार को 35 किलो चावल प्रति माह रु.1 की दर से एवं बी.पी.एल. परिवार नियंत्रत दर पर तेल, दाल, नमक, चानी और केरोसिन प्रदान किया जाएगा।
  6. स्वास्थ्य का अधिकार – छत्तीसगढ़ के हर नागरिक को सर्वजन स्वास्थ योजना (यूनिवर्सल हेल्थकेयर) के अंतर्गत गुणवत्तायुक्त इलाज की सुविधा निःशुल्क दी जाएगी। यह सुविधा बाह्य रोगी और अस्पताल में भर्ती रोगियों दोनों पर
    लागू होगी और इस योजना के तहत दवाईयाँ और जाँच की सुविधा भी निःशुल्क प्रदान की जाएगी, गंभीर बीमारियों
    के इलाज के लिए भी उच्चतम श्रेणी के चिकित्सक नियुक्त किये जायेंगे और आधुनिक चिकित्सा सुविधाओं से युक्त
    अस्पताल बनाये जाएंगे
  7. शिक्षा का अधिकार – शिक्षा का अधिकार को पूर्व प्राथमिक (प्री.स्कूल) से कक्षा बारहवीं तक लागू किया जाएगा और
    छात्राओं के लिए नर्सरी से पोस्ट ग्रेजुएट तक निःशुल्क शिक्षा प्रदान की जाएगी।आंगनबाड़ियों में बालवाड़ी प्रीप्राइमरी स्कूल (नर्सरी) शिक्षा की शुरूआत की जाएगी।
  8. ग्रामीण और शहरी आवास का अधिकार- सरकार आने के एक वर्ष के भीतर होमस्टेड अधिनियम लाया जाएगा जिसके अंतर्गत प्रत्येक ग्रामीण भूमिहीन 5 सदस्यीय परिवारको घर एवं बाड़ी हेतु भूमि प्रदान की जायेगी एवं शहरी क्षेत्र में आवासविहीन परिवारों को 2 कमरों का मकान प्रदान किया जाएगा, भूमिहीन कब्जाधारी परिवारों को नियत अवधि के भीतर पट्टा प्रदान किया जाएगा।
  9. वनाधिकार कानून का पालन – वन अधिकार अधिनियम पूर्णतः लागू किया जाएगा, वन अधिकार अधिनियम के
    अंतर्गत वनोपज एवं प्राकृतिक संसाधनों पर अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, पिछड़ा वर्ग एवं सामान्य वर्ग को व्यक्तिगत अधिकार एवं ग्राम सभा को सामूहिक अधिकार दिए जाएंगे।पांचवीं अनुसूची और आदिवासी क्षेत्रों के लिए पंचायत अधिनियम (पेसा कानून) को पूर्णतः लागू किया जाएगा।
  10. महिला सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध – राज्य में महिला सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हमारी सरकार पूरी तरह से प्रतिबद्ध
    रहेगी, महिलाओं के संरक्षण के लिए कानून का सख़्ती से पालन किया जाएगा, महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामलों को गम्भीरता से लिया जाएगा एवं अपराधियों पर कड़ी कार्यवाही की जाएगी।प्रत्येक थाने में एक महिला सेल होगा और महिलाओं से सम्बन्धित अपराधों की स्वतंत्र जाँच की जाएगी। सार्वजनिक स्थानों एवं यातायात के साधनों को महिलाओं के अनुकूल एवं सुरक्षित बनाया जाएगा।
  11. शासकीय कर्मचारियों को सम्मान – समस्त तृतीयएवं चतुर्थ वर्ग शासकीय कर्मचारियों के लिए क्रमोन्नति, पदोन्नति एवं
    चार स्तरीय उच्चतर वेतनमान लागू किया जाएगा। अनियमित, संविदा एवं दैनिक वेतन भोगी कर्मियों को रिक्त पदों में नियमितिकरण की कार्यवाही की जाएगी एवं किसी की भी छटनी नहीं की जाएगी। शिक्षाकर्मियों को 2 वर्ष पूर्ण करने पर नियमितिकरण की कार्यवाही की जाएगी।
  12. पेंशन योजना – सर्व वृद्धा पेंशन योजना के अंतर्गत 60 वर्ष से अधिक आयु के नागरिको को रु. 1000 प्रतिमाह एवं 75 वर्ष से अधिक आयु के नागरिकों को रु. 1500 प्रतिमाह पेंशन के रूप में प्रदान किए जाएंगे। सर्व विधवा पेंशन योजना के अंतर्गत छत्तीसगढ़ की सभी विधवा महिलाओं को रु.1000 प्रतिमाह पेंशन के रूप में प्रदान किए जाएंगे।
  13. महिला स्व-सहायता समूह का सशक्तिकरण एवं कर्ज़ माफी – महिला स्व-सहायता समूहों का कर्ज़ माफ़ किया जाएगा
    तथा महिला स्व-सहायता समूहों को धोखाधड़ी से बचाने एवं आर्थिक स्थिति सुधारने हेतु सख़्त नियम बनाए जाएंगे।
  14. शराबबंदी – कांग्रेस सरकार द्वारा राज्य में शराब की बिक्री पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया जाएगा, बस्तर, सरगुजा जैसे अनुसूचित क्षेत्रों में ग्राम सभा को शराबबंदी का अधिकार होगा।
  15. मनरेगा का विस्तार-मनरेगा को कृषि कार्य खेती, बाड़ी, पशुपालन से जोड़ कर खेती की लागत को कम किया जायेगा,
    मांग पर रोजगार उपलब्धनही होने पर कानून अनुसार भत्ता प्रदान किया जाएगा।
  16. भूमि-अधिग्रहण – भूमि-अधिग्रहण अधिनियम 2013 का सख्ती से पालन करते हुए अधिग्रहित की गयी कृषि भूमि के
    लिए मुआवजा ग्रामीण क्षेत्रों में बाजार दर से 4 गुना प्रदान किया जाएगा। इस अधिनियम के पारित होने के बाद अधिग्रहित की गई भूमि का मुआवजा भी इसी दर पर प्रदान किया जाएगा।
  17. जल संशाधन नीति-छत्तीसगढ़ की पहली जल संसाधन नीति लागू की जाएगी जिसके अंतर्गत पेयजल एवं सिंचाई को
    प्राथमिकता दी जाएगी।
  18. सिंचित क्षेत्र होगा दोगुना – लघु और मध्यम सिंचाई परियोजनाओं पर विशेष ध्यान देकर 5 वर्षों में सिंचित क्षेत्र को
    दोगुना किया जाएगा। सिंचाई शुल्क को समाप्त कर पुराने बकाया राशि माफ़ की जाएगी।
  19. फूड पार्क -प्रदेश में 200 फूड पार्क स्थापित किए जाएंगे और प्रत्येक ब्लॉक में कम से कम एक फूड पार्क स्थापित किया
    जाएगा।
  20. कामधेनु सुरक्षा केंद्र – लावारिश मवेशियों के लिए बाड़े एवं गौशालाएँ बनाई जाएंगी ताकि किसानों की फसलों को
    नुकसान से बचाया जा सके। अमूल मॉडल के अनुरूप प्रत्येक जिले में सहकारी दुग्ध समिति की स्थापना की जाएगी।
  21. लोकपाल-छत्तीसगढ़ में लोकपाल अधिनियम लागू किया जायेगा और मुख्यमंत्री, मंत्री एवं सभी अधिकारियों को इसके अधीन लाया जाएगा।
  22. नक्सल समस्या – नक्सल समस्या के समाधान के लिए नीति तैयार की जाएगी और वार्ता शुरू करने के लिए गम्भीरतापूर्वक प्रयास किए जाएंगे। प्रत्येक नक्सल प्रभावित पंचायत को सामुदायिक विकास कार्यो के लिए एक करोड़ रू. दिए जायेंगे, जिससे कि विकास के माध्यम से उन्हें मुख्यधारा से जोड़ा जा सके।
  23. विशेष सुरक्षा कानून- राज्य में पत्रकारों, वकीलों और डॉक्टरों के संरक्षण के लिए विशेष कानून बनाए जाएंगे।
  24. ग्राम सड़क योजना-ऐसे सभी गाँवों और पारा, टोला जो किसी अन्य मौजूदा योजना में शामिल नहीं किया गया हैउन्हे इस
    योजना के माध्यम से जोड़ा जाएगा।
  25. गजराज योजना-छत्तीसगढ़ में लेमरू, कोरबा, जैसे वन क्षेत्रों में हाथी और वन्यजीव अभ्यारण्य स्थापित किए जाएंगे
    और मानव, हाथी के संघर्षों को कम करने के लिए जंगलों को वाइल्डलाइफ कॉरिडोर से जोड़ा जाएगा।
  26. वनोपज की उचित मूल्य पर खरीदी-तेंदूपत्ता 4000 रूपए प्रति मानक बोरे के दर पर खरीदा जाएगा। 75 में से 50 प्रमुख
    वनोपज उत्पादों का न्यूनतम समर्थन मूल्य पहले वर्ष में बढ़ाया जाएगा और वार्षिक समीक्षा की जाएगी।
  27. इंटरजेनरेशन इक्विटी-प्राकृतिक संसाधनों को आगामी पीढ़ी केलिए सुरक्षित करने हेतु इंटरजेनरेशन इक्विटी के सिद्धांतों
    के आधार पर नीति बनाई जाएगी जिसके लिए वैज्ञानिक आयोग की स्थापना की जाएगी, जिसमें अर्थशास्त्री और समाजसेवी संगठन भी सदस्य के रूप में सम्मिलित होंगे।
  28. पर्यटन को बढ़ावा -छत्तीसगढ़ में पर्यटन स्थलों के विकास हेतु मास्टर प्लान तैयार किया जाएगा ताकि स्थानीय अर्थव्यवस्था को बेहतर बनाया जा सके, रोज़गार के अवसर बढ़ाए जा सकें और उन पर्यटन स्थलों को सुगम बनाया जा सके, इस मास्टर प्लान के अंतर्गत 3 वर्षों के भीतर इन पर्यटन स्थलों का विकास किया जाएगा एवं पर्यटन को उद्योग का स्वरुप दिया जाएगा
  29. दिव्यांगों को सम्मान-दिव्यांगों के जन-प्रतिनिधित्व को बढ़ाने के लिए इस वर्ग से निर्वाचित न हो पाने पर एक महिला व
    एक पुरुष दिव्यांग को पंचायतों व नगरीय निकायों में मनोनीत किया जाएगा।
  30. आउटसोर्सिंग की समाप्ति-राज्य सरकार की नौकरियों में आउटसोर्सिंग पूर्णतः समाप्त कर दी जाएगी व सभी शासकीय विभागों के 1 लाख रिक्त पदों को शीघ्र भरा जाएगा।
  31. विद्यार्थियों को सुविधाएं -प्रदेश के सरकारी स्कूलों में नौंवीं कक्षा में जाने वाले सभी छात्र एवं छात्राओं दोनों को मुफ्त
    साइकिल दी जाएगी। कॉलेज एवं स्कूली छात्र-छात्राओं को मुफ्त सार्वजनिक परिवहन की सुविधा दी जाएगी।
  32. चिटफंड कंपनी-चिटफंड कंपनी में निवेश करने वाले निवेशकों का पैसा वापस होगा एवं चिटफंड कंपनियों के खिलाफ
    कड़ी कार्यवाही की जाएगी।
  33. संपत्तिकर में राहत – संपत्तिकर को शहरी क्षेत्रों में न्यनतम 50% तक कम किया जाएगा और ग्रामीण क्षेत्रों में पूर्णतः समाप्त कर दिया जाएगा।
  34. कचरा मुक्त शहर – शहरी क्षेत्रों में कचरे के निपटारे एवं रिसाइक्लिंग हेतु एसएलआरएम कार्यक्रम को मजबूत बनाया
    जाएगा।
  35. घर पहुँच सरकारी सेवा – छत्तीसगढ़ के नागरिकों को सरकारी सेवाओं का लाभ घर तक पहुंचाकर दिया जायेगा।
  36. पुलिस कल्याण योजना – तृतीय एवं चतुर्थ वर्ग के पुलिस कर्मचारियों के आवास एवं बच्चों की शिक्षा हेतु पुलिस कल्याण
    कोष को शासकीय अनुदान समय समय पर प्रदान कर सशक्त किया जायेगा।

जन घोषणा पत्र के अधूरे वादे

  1. शराबबंदी – कांग्रेस सरकार द्वारा राज्य में शराब की बिक्री पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया जाएगा, बस्तर, सरगुजा जैसे अनुसूचित क्षेत्रों में ग्राम सभा को शराबबंदी का अधिकार होगा।
  2. लोकपाल-छत्तीसगढ़ में लोकपाल अधिनियम लागू किया जायेगा और मुख्यमंत्री, मंत्री एवं सभी अधिकारियों को इसके अधीन लाया जाएगा।

यह जानकारी कांग्रेस मीडिया विभाग के प्रदेश अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने दी

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